गणतंत्र दिवस भाषण हिंदी में 2024: 26 January Speech In Hindi

26 January Speech In Hindi 2024:- जैसे के हम सभ जानते है प्रतिवर्ष गणतंत्र दिवस पर भाषण (Republic Day Speech in Hindi)  मनाया जाता है 1950 दिन 26 जनवरी के दिन ही देश का संविधान लागु किया गया था इस दिन को देश के सरकारी दफ्तरों,स्कूलों,प्राइवेट सेक्टर में बहुत उत्साह के साथ मनाया जाता है क्या आपको मालूम है 26 नवंबर को संविधान दिवस के रूप में घोषित किया था लेकिन गणतंत्र दिवस 26 जनवरी के दिन मनाया जाता है हम सभी जानते है 26 जनवरी के दिन सभी स्कूल में भाषण प्रतियोगता आयोजित की जाती है जिसमे बहुत से बच्चे हिस्सा लेते है Republic Day Speech in Hindi for School Students अगर आप भी उनमे से एक है और एक दमदार स्पीच तैयार करना चाहते है तो इस लेख को अंत तक अवश्य पढ़े क्योंकि आज हम आपको इस लेख की सहायता से 26 January Speech In Hindi से सम्बन्धी जानकारी प्रदान करने जा रहे है जो आपको अपने लिए स्पीच तैयार करने में सहायता करेगी।

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26 January Speech in Hindi 2024

आदरणीय प्रधानाचार्य जी और मेरे सभी शिक्षकगण यहाँ उपस्थित मेरे प्यारे सहपाठियों आज 26 जनवरी गणतंत्र दिवस का दिन है हम सभी बेहद अच्छी तरह से जानते है की आज ही के दिन हमारे देश भारत का संविधान को देश में लागु किया गया था इसी महोत्सव को मानाने के लिए आज हम एक जगह एकत्रित हुए हैं आज के दिन हमारे देश के संविधान को लागु हुए 74 वर्ष सम्पूर्ण हो गए है इसकी आप सभी को बहुत बहुत शुभकामनाएं। आज हम आप सभी को गणतंत्र दिवस से सम्बन्धी कुछ महत्पूर्ण जानकारी साझा करने जा रहा/ जा रही हूँ।

26 जनवरी 1950 आज ही के दिन हमारे देश में संविधान को लागु किया गया था और उस दिन से और आज का दिन है 26 जनवरी को बहुत उत्साह के साथ भारतवर्ष में मनाया जाता है गणतंत्र का अर्थ जनता द्वारा जनता के लिए शासन। हमारा देश भारत एक लोकतान्त्रिक देश है भारत के इतिहास कई महान नेताओं और क्रांतिकारियों की गाथाओं से भरा हुआ है देश के संविधान की नींव डॉक्टर भीमराव अम्बेडकर द्वारा रखी गई है हम सभी इस देश के वासी हैं जो अपने लोकतंत्र के लिए दुनियाभर में जाना जाता है।

  • ”सबके अधिकारों का रक्षक
  • अपना ये गणतंत्र पर्व है।
  • लोकतंत्र ही मंत्र हमारा
  • हम सबको ही इस पर गर्व है।”

हमारे भारत देश में विभिन तरह के धर्म, जाति, संस्कृतियों, परम्पराए शामिल है जो एकता की मिसाल कायम करता है देश के सभी नागरिक आज के दिन को बिना किसी भेदभाव के साथ मानाते है आज ही के दिन 26 जनवरी को हम पूर्ण स्वराज मिला,इसी दिन हम पूर्ण रूप से स्वाधीन हो गए थे।  आज हम उन सभी क्रांतिकारियों ,स्वतंत्रता सेनानियों के कारण की भारत की स्वतंत्र हवाओं में साँस ले रहे हैं आज ही के दिन प्रमुख राष्ट्रीय अवकाशों में से एक है आज के दिन 26 जनवरी 1950 को गवर्नल जनरल लार्ड माउन्ट बेटन के स्थान पर भारत के पहले राष्ट्रपति के रूप में डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद को चुना गया था इसी दिन 1950 को भारत सरकार अधिनियम -1935 को हटाया गया और भारत का संविधान लागू किया गया था। इसी के साथ आखिर में कहना चाहता/चाहती हूँ।

  • ”ऐ शान्ति और अहिंसा की उड़ती हुई परी
  • आ तू भी आ, और देख की आ गयी 26 जनवरी।
  • जय हिन्द जय भारत”

गणतंत्र दिवस पर निबंध कैसे लिखें

गणतंत्र दिवस प्रतिवर्ष 26 जनवरी को बहुत ही धूमधाम से मनाया जाता है आज ही के दिन हमारे देश भरता का संविधान लागु किया गया था आज ही दिन देश अंग्रेज़ो से भारतीयों को आजादी मिली थी और हमारा संविधान जिन्हे भीमराव अम्बेडकर जी ने लिखा था भारतीय संविधान के लागु होने के बाद भारत एक लोकतान्त्रिक देश बना। इसी Republic Day को 26 जनवरी एक त्यौहार के रूप में मानाया जाता है।

26 जनवरी की परेड

जैसे की हम सब जानते है की हर साल राष्ट्रीय राजधानी, नई दिल्ली में इंडिया गेट पर 26 जनवरी की खास परेड का आयोजन होता है। इस कार्यक्रम में नेताओं, पुलिस अधिकारियों, अभिनेताओं के साथ साथ आम नागरिक भी शामिल होते हैं। जो इस खास मौक़े पर राजपथ पर होने वाली इस परेड और कार्यक्रम को देखने के लिए आते हैं।

पूर्ण स्वराज (Complete independence)

भारतीय कोंग्रेस द्वारा पूर्ण स्वराज का एलान 26 जनवरी 1930 को किया गया था लाहौर अधिवेशन में यह प्रस्ताव दिया गया था की अंग्रेजी हुकूमत द्वारा 26 जनवरी 1930 को भारत को डोमिनियन का दर्जा दिया जायेगा यदि ऐसा नहीं किया जाता है तो भारत स्वयं को पूरी तरीके से स्वतंत्र घोषित कर लेगा। परन्तु अंग्रेज़ो की सरकार ने इस पर किसी तरह का कोई ध्यान नहीं दिया गया। और नहीं किसी तरह कोई निर्णय लिया गया था इसके परिमाण स्वरुप भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने 26 जनवरी 1930 को पूर्ण स्वराज घोषित किया। भारत के स्वराज की अभिलाषा कविता जोकि मैथलीशरण गुप्त द्वारा रचित है वह भी स्वराज के महत्त्व को दर्शाती है। उसकी कविता की कुछ पंक्तियाँ इस प्रकार हैं

  • ”कभी न नैतिक घातें होंगी, मुक्त मानसिक बातें होंगी;
  • विधि-विधान मे फिर निजत्व का हमको अटल गर्व होगा।
  • पक्षपात, मतभेद न होगा ग्लानि न होगी, खेद न होगा;
  • न्याय-सभाओं में विचार का प्रकटित पुण्य पर्व होगा॥”

गणतंत्र दिवस का इतिहास

भारत के संविधान को तैयार करने में 2 वर्ष 11 माह और 18 दिन का समय लगा। देश को आज़ादी मिलने के बाद 9 दिसम्बर 1947 को संविधान को बनाने की शुरुआत की गई थी कोंग्रेस द्वारा पूर्ण स्वराज 26 जनवरी के दिन घोषित किया गया था उसी दिन को और आज तक 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस के रूप में मनाया जाता है संविधान को बनाने में देश की 22 समितियों ने अपना योगदान दिया था इन समितियों द्वारा ही संविधान का निर्माण किया गया है संविधान को बनाने में 308 सदस्यों ने भाग लिया था एवं यह बेहठक 114 दिन तक चली गयी थी संविधान सभा मुख्य सदस्य डॉ राजेंद्र प्रसाद, पंडित जवहरलाल नेहरू, डॉ भीमराव अंबेडकर, सरदार वल्लभ भाई पटेल आदि थे।

जैसे के हम सभ जानते है प्रतिवर्ष 26 जनवरी के दिन गणतंत्र दिवस मनाया जाता है 1950 दिन 26 जनवरी के दिन ही देश का संविधान लागु किया गया था इस दिन को देश के सरकारी दफ्तरों,स्कूलों,प्राइवेट सेक्टर में बहुत उत्साह के साथ मनाया जाता है क्या आपको मालूम है 26 नवंबर को संविधान दिवस के रूप में घोषित किया था लेकिन गणतंत्र दिवस 26 जनवरी के दिन मनाया जाता है हम सभी जानते है 26 जनवरी के दिन सभी स्कूल में भाषण प्रतियोगता आयोजित की जाती है जिसमे बहुत से बच्चे हिस्सा लेते है अगर आप भी उनमे से एक है और एक दमदार स्पीच तैयार करना चाहते है तो इस लेख को अंत तक अवश्य पढ़े क्योंकि आज हम आपको इस लेख की सहायता से 26 january speech in hindi से सम्बन्धी जानकारी प्रदान करने जा रहे है जो आपको अपने लिए स्पीच तैयार करने में सहायता करेगी।

26 January Speech In Hindi 2024

आदरणीय प्रधानाचार्य जी और मेरे सभी शिक्षकगण यहाँ उपस्थित मेरे प्यारे सहपाठियों

आज 26 जनवरी गणतंत्र दिवस का दिन है हम सभी बेहद अच्छी तरह से जानते है की आज ही के दिन हमारे देश भारत का संविधान को देश में लागु किया गया था इसी महोत्सव को मानाने के लिए आज हम एक जगह एकत्रित हुए हैं आज के दिन हमारे देश के संविधान को लागु हुए 74 वर्ष सम्पूर्ण हो गए है इसकी आप सभी को बहुत बहुत शुभकामनाएं। आज हम आप सभी को गणतंत्र दिवस से सम्बन्धी कुछ महत्पूर्ण जानकारी साझा करने जा रहा/ जा रही हूँ।

26 जनवरी 1950 आज ही के दिन हमारे देश में संविधान को लागु किया गया था और उस दिन से और आज का दिन है 26 जनवरी को बहुत उत्साह के साथ भारतवर्ष में मनाया जाता है गणतंत्र का अर्थ जनता द्वारा जनता के लिए शासन। हमारा देश भारत एक लोकतान्त्रिक देश है भारत के इतिहास कई महान नेताओं और क्रांतिकारियों की गाथाओं से भरा हुआ है देश के संविधान की नींव डॉक्टर भीमराव अम्बेडकर द्वारा रखी गई है हम सभी इस देश के वासी हैं जो अपने लोकतंत्र के लिए दुनियाभर में जाना जाता है।

  • ”सबके अधिकारों का रक्षक
  • अपना ये गणतंत्र पर्व है।
  • लोकतंत्र ही मंत्र हमारा
  • हम सबको ही इस पर गर्व है।”

हमारे भारत देश में विभिन तरह के धर्म ,जाति ,संस्कृतियों ,परम्पराए शामिल है जो एकता की मिसाल कायम करता है देश के सभी नागरिक आज के दिन को बिना किसी भेदभाव के साथ मानाते है आज ही के दिन 26 जनवरी को हम पूर्ण स्वराज मिला,इसी दिन हम पूर्ण रूप से स्वाधीन हो गए थे।  आज हम उन सभी क्रांतिकारियों ,स्वतंत्रता सेनानियों के कारण की भारत की स्वतंत्र हवाओं में साँस ले रहे हैं आज ही के दिन प्रमुख राष्ट्रीय अवकाशों में से एक है आज के दिन 26 जनवरी 1950 को गवर्नल जनरल लार्ड माउन्ट बेटन के स्थान पर भारत के पहले राष्ट्रपति के रूप में डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद को चुना गया था इसी दिन 1950 को भारत सरकार अधिनियम -1935 को हटाया गया और भारत का संविधान लागू किया गया था। इसी के साथ आखिर में कहना चाहता/चाहती हूँ।

  • ”ऐ शान्ति और अहिंसा की उड़ती हुई परी
  • आ तू भी आ, और देख की आ गयी 26 जनवरी।
  • जय हिन्द जय भारत”

गणतंत्र दिवस पर निबंध कैसे लिखें

गणतंत्र दिवस प्रतिवर्ष 26 जनवरी को बहुत ही धूमधाम से मनाया जाता है आज ही के दिन हमारे देश भरता का संविधान लागु किया गया था आज ही दिन देश अंग्रेज़ो से भारतीयों को आजादी मिली थी और हमारा संविधान जिन्हे भीमराव अम्बेडकर जी ने लिखा था भारतीय संविधान के लागु होने के बाद भारत एक लोकतान्त्रिक देश बना। इसी Republic Day को 26 जनवरी एक त्यौहार के रूप में मानाया जाता है।

पूर्ण स्वराज (Complete independence)

भारतीय कोंग्रेस द्वारा पूर्ण स्वराज का एलान 26 जनवरी 1930 को किया गया था लाहौर अधिवेशन में यह प्रस्ताव दिया गया था की अंग्रेजी हुकूमत द्वारा 26 जनवरी 1930 को भारत को डोमिनियन का दर्जा दिया जायेगा यदि ऐसा नहीं किया जाता है तो भारत स्वयं को पूरी तरीके से स्वतंत्र घोषित कर लेगा। परन्तु अंग्रेज़ो की सरकार ने इस पर किसी तरह का कोई ध्यान नहीं दिया गया। और नहीं किसी तरह कोई निर्णय लिया गया था इसके परिमाण स्वरुप भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने 26 जनवरी 1930 को पूर्ण स्वराज घोषित किया। भारत के स्वराज की अभिलाषा कविता जोकि मैथलीशरण गुप्त द्वारा रचित है वह भी स्वराज के महत्त्व को दर्शाती है। उसकी कविता की कुछ पंक्तियाँ इस प्रकार हैं

  • ”कभी न नैतिक घातें होंगी, मुक्त मानसिक बातें होंगी;
  • विधि-विधान मे फिर निजत्व का हमको अटल गर्व होगा।
  • पक्षपात, मतभेद न होगा ग्लानि न होगी, खेद न होगा;
  • न्याय-सभाओं में विचार का प्रकटित पुण्य पर्व होगा॥”

गणतंत्र दिवस का इतिहास

भारत के संविधान को तैयार करने में 2 वर्ष 11 माह और 18 दिन का समय लगा। देश को आज़ादी मिलने के बाद 9 दिसम्बर 1947 को संविधान को बनाने की शुरुआत की गई थी कोंग्रेस द्वारा पूर्ण स्वराज 26 जनवरी के दिन घोषित किया गया था उसी दिन को और आज तक 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस के रूप में मनाया जाता है संविधान को बनाने में देश की 22 समितियों ने अपना योगदान दिया था इन समितियों द्वारा ही संविधान का निर्माण किया गया है संविधान को बनाने में 308 सदस्यों ने भाग लिया था एवं यह बेहठक 114 दिन तक चली गयी थी संविधान सभा मुख्य सदस्य डॉ राजेंद्र प्रसाद, पंडित जवहरलाल नेहरू, डॉ भीमराव अंबेडकर, सरदार वल्लभ भाई पटेल आदि थे।

Republic Day Speech Tips

  • अपने गणतंत्र दिवस के भाषण को छोटा रखे।
  • ज्यादा भारी शब्दों और वाक्यों का उपयोग ना करें।
  • जितना हो सरल भाषा में बच्चों को अपना भाषण समझाएं।
  • भाषण बोलने से पहले कई बार अभ्यास करें।
  • जब भाषण दे तो डरे नहीं और मंच पर जाकर रिलैक्स रहे।
  • भाषण देते दौरान बॉडी लैंग्वेज की तकनीकी सीखें। इससे भाषण ज्यादा अधिक प्रभावशाली होगा।

26 जनवरी पर शायरी

अलग है भाषा,
धर्म जात और प्रांत,
पर हम सब का एक है,
गौरव राष्ट्रध्वज तिरंगा श्रेष्ठ।

Desh Bhakti Shayari for Repulic Day in Hindi

चढ़ गये जो हंसकर सूली,
खाई जिन्होंने सीने पर गोली,
हम उनको प्रणाम करते हैं,
जो मिट गए देश के लिए,
हम उनको, सलाम करते हैं।

Republic Day par Shayari

मै भारत बरस का हरदम अमित सम्मान करता हूँ,
यहाँ की चांदनी मिट्टी का ही गुणगान करता हूँ,
मुझे चिंता नही है स्वर्ग जाकर मोक्ष पाने की,
तिरंगा हो कफ़न मेरा, बस यही अरमान रखता हूँ।,

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